महाराणा प्रताप और जाहिर साका के बीच होने वाली लड़ाई की तैयारी का दृश्य है। प्रताप अपनी तलवार के साथ लड़ाई के लिए तत्पर हैं, जबकि जाहिर साका मेहमान नवाजी का प्रस्ताव रखता है। दोनों के बीच बातचीत में युद्ध की गंभीरता और सम्मान का आदान-प्रदान होता है, जो आगे की लड़ाई को दर्शाता है।